Uncategorized

गौड़ीय मिशन द्वारा श्रील भक्ति सिद्धांत सरस्वती गोस्वामी प्रभुपाद के 150 वें जन्मोत्सव पर ‘विश्व वैष्णव सम्मेलन’ संपन्न

Image default
Spread the love

मुंबई : गौड़ीय मिशन, श्री राधा कृष्ण मंदिर, बांद्रा पूर्व, मुंबई के तत्वावधान में गौड़ीय मिशन के संस्थापक आचार्य श्रील भक्तिसिद्धांत सरस्वती गोस्वामी प्रभुपाद के 150 वें जन्मोत्सव के उपलक्ष्य में एक भव्य नगर संकीर्तन शोभायात्रा एवं “विश्व वैष्णव सम्मेलन” का आयोजन किया गया। जिसमे घनसावंगी विधानसभा के विधायक हिकमत उढाण प्रमुख अतिथि के रूप में पहुंचे थे तो वहीं शिवसेना के विभागप्रमुख कुणाल सरमलकर विशेष अतिथि व पूर्व नगरसेवक सुभाष कांता सावंत अतिथि के तौर पर विराजमान हुए।
सम्मेलन के प्रथम सत्र अर्थात 28 जनवरी को शोभायात्रा निकाली गई, जिसमें बड़ी संख्या में श्रद्धालुओं ने भाग लिया। शोभायात्रा के पश्चात  वैष्णव सम्मेलन आयोजित हुआ जिसमें वक्ता के रूप में गौड़ीय मिशन के आचार्य एवं अध्यक्ष श्रीमद् भक्ति सुंदर संन्यासी गोस्वामी महाराज, श्रीचैतन्य गौश्री गौड़ीय मिशन मुंबई के अध्यक्ष एवं आचार्य श्रीपाद भक्ति विचार विष्णु महाराज तथा गौड़ीय मिशन वृंदावन अध्यक्ष श्रीपाद भक्ति भास्कर भारती महाराज आदि उपस्थित थे। कार्यक्रम के प्रथम सत्र का समापन गौड़ीय मिशन के युवा मंडली द्वारा महामंत्र की धुन पर गौड़ीय नृत्य की प्रस्तुति के साथ हुआ।
विश्व वैष्णव सम्मेलन का दूसरा सत्र 29 जनवरी को सम्पन्न हुआ, जिसकी शुरुआत भजनों की अमृतवर्षा से हुई। सभी भक्त भजनों की रसधारा में सराबोर हो गए। सभा में वक्ता के रूप में श्रील भक्ति विचार विष्णु महाराज, श्रीपाद भक्ति विजय वैखानस महाराज, अध्यक्ष और आचार्य, श्री गौर गोबिंद गौड़ीय मठ, मायापुर श्रीपाद भक्ति सुहृद परमाद्वैती महाराज, आध्यात्मिक प्रचारक, श्री चैतन्य मिशन, एवं अध्यक्ष, श्री राधा गोविंद मंदिर उपस्थित थे। सभा का संबोधन करते हुए श्रीपाद भक्ति रक्षक ऋषिकेश महाराज ने सभी वक्ताओं का स्वागत किया एवं यथोचित सत्कार किया। श्रीमद् भक्ति वैखानस महाराज ने अपनी व्यकत्व बताया कि जिस प्रकार जीवों के कल्याण के लिए महर्षि वेदव्यास ने भारी तपस्या करके वेदों का विभाजन किया, अष्टादश पुराण उपनिषद आदि की रचना की। और उन सभी का ज्ञान संपत्ति के रूप में’ अपने पुत्र को प्रदान  करके सम्पूर्ण विश्व में वितरित किया ठीक उसी प्रकार श्रील भक्ति विनोद ठाकुर ने भी भक्ति प्राप्ति के लिए संपूर्ण सिद्धांत विश्व के कल्याण हेतु अपने पुत्र श्रील प्रभुपाद को प्रदान किया। जिसका श्रील प्रभु‌पाद में पूरे विश्व में प्रचार किया। इसके बाद श्रीपाद भक्ति सुहृद परमाद्वैती महाराज ने अपनी वक्तव्य में उल्लेख किया कि आज जितने भी गौड़ीय मिशन, मठ या इस्कॉन हैं, उन सबके मूल में श्रील प्रभुपाद ही हैं। उन्होंने यह भी बताया कि यह केवल हमारी वाणी ही नहीं बल्कि सभी शास्त्रों की वाणी है। “उत्कले पुरुषोतमात् अर्थात उड़ीसा में जिसका जन्म होगा उन्हीं के द्वारा संपूर्ण विश्व में महाप्रभु की वाणी प्रचारित होगी। इसके उपरांत सभा में गौड़ीय मिशन के वर्तमान आचार्य एवं अध्यक्ष श्रील भक्ति सुंदर संन्यासी गोस्वामी महाराज का आगमन हुआ। उन्होंने बताया कि जगत में उत्पन्न शुद्ध हरिकथा के अकाल को श्रील प्रभुपाद ने किस प्रकार दूर किया और किस प्रकार गौड़ीय मिशन संसार में भवरोग के अस्पताल के रूप में कार्य करता है।उन्होंने उन सभी भक्तों का आभार व्यक्त किया जिन्होंने इन कार्यक्रम को सफल बनाने में तन-मन-धन से सहायता करी। तत्पश्चात् श्रील प्रभुपाद की भव्य आरती हुई एवं श्रील प्रभुपाद के त्रिवर्षव्यापी उत्सव पर एक डॉक्यूमेंट्री का प्रसारण हुआ। तदुपरांत सांस्कृतिक कार्यक्रम की शुरुआत हुई जिसमें गौड़ीय युवा गोष्ठी द्वारा बाउल नृत्य एवं संन्यासी ब्रहाचारियों द्वारा महामंत्र कीर्तन हुआ। हरे कृष्ण हल्दार एवं अन्य युवा बच्चों द्वारा भव्य मृदंग वादन, भरतनाट्यम आदि का प्रदर्शन हुआ। इसके बाद श्रील भक्ति विचार विष्णु महाराज ने सभा का संबोधन किया।
 महाराष्ट्र के उप मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे किसी विशेष आवश्यक कार्य के कारण श्रील प्रभुपाद की जन्म जयंती में नहीं पधार सके, इसके लिए उन्होंने खेद व्यक्त किया। उनके प्रतिनिधि के तौर पर पहुंचे शिवसेना नेता और घनसावंगी विधानसभा के विधायक हिकमत उढाण, विभाग प्रमुख कुणाल सरमलकर विशेष अतिथि व पूर्व नगरसेवक सुभाष कांता सावंत ने बताया कि जल्द ही उप मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे राधा कृष्ण मंदिर में दर्शन के लिए पधारने वाले हैं.

Related posts

Las Catrinas Brings Authentic Mexican Food to Astoria

hindustanprahari

दर्शक मास्क टीवी पर ‘आज़मगढ़’ को देख पाएंगे फ्री

hindustanprahari

10 Predictions About the Future of Photography

hindustanprahari

Leave a Comment